आज हम आपसे चर्चा करने जा रहे हैं पाकिस्तान में एक नहीं दो बार किया था सीजफायर के लिए कॉल के बारे में। अब हम आपसे पाकिस्तान में एक नहीं दो बार किया था सीजफायर के लिए कॉल के बारे में बात करें तो ऑपरेशन सिंदूर के बाद पाकिस्तान में मृतकों का आंकड़ा अब बढ़कर 100 हो गया हैं। बहावलपुर हमले में 20 से अधिक लोगों की मृत्यु हुई हैं। इनमें अधिकतर आतंकी मसूद अजहर के रिश्तेदार हैं।
पहलगाम आतंकी हमले के बाद ऑपरेशन सिंदूर- Pahalgam aatanki hamle ke baad operation sindoor
पाकिस्तान के आतंकी ठिकानों को निशाना बनाकर शुरु किए गए भारत के ऑपरेशन सिंदूर ने पहलगाम आतंकी हमले के बाद आतंक की कमर तोड़कर रखी दी हैं।
बहावलपुर से लेकर मुरिदकें तक आतंकियों के अड्डों को तबाह किया गया हैं। लेकिन इससे बौखलाए पाकिस्तान ने भारत के सैन्य और रिहायशी इलाकों को निशाना बनाया हैं। दोनों देशों के बीच अचानक सीजफायर के ऐलान से कई सवाल खड़े हुए हैं। लेकिन अभी सीजफायर को लेकर नया खुलासा हुआ हैं।
विश्वसनीय सूत्रों का यह कहना हैं की भारत के साथ इस सीजफायर के लिए पाकिस्तान ने एक बार नहीं बल्कि दो बार संपर्क किया था। पहली बार पाकिस्तान ने 7 मई की शाम को भारत से सीजफायर के लिए संपर्क किया था।
पाकिस्तान के डायरेक्टर जनरल ऑफ मिलिट्री ऑपरेशंस की और से औपचारिक संदेश के साथ भारत से संपर्क साधा गया था। भारत ने सात मई की सैन्य कार्रवाई में पाकिस्तान और पीओके में नौ आतंकी ठिकानों को नेस्तनाबूद किया था।
पाकिस्तान ने रखा सीजफायर का प्रस्ताव- Pakistan ne rakha ceasefire ka prastav
इन सब के बाद 10 मई की शाम 3:35 मिनट पर DGMO स्तर की वार्ता हुई थी। इस वार्तालाप के दौरान दोनों तरह से सीजफायर पर सहमति बनी हैं। यह सहमति दोनों देशों के सैन्य संचार माध्यमों के जरिए हुई थी। इसका उद्देश्य तनाव को कम करना था।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्त रणधीर जायसवाल ने इससे पहले प्रेम ब्रीफिंग में कहा था की पाकिस्तान के डीजीएमओ ने भारतीय समकक्ष से वार्ता का अनुरोध किया था। इसके बाद पाकिस्तान ने सीजफायर का प्रस्ताव रखा था।
आवश्यक जानकारी:- पीएम मोदी की चेतावनी से घबराया पाकिस्तान।
पाकिस्तान सेना के सैनिकों की मौत- Pakistan sena ke sainikon ki maut
भारत की सैन्य कार्रवाई में पाकिस्तान सेना के लगभग 40 सैनिकों की मौतें हुई हैं। लेकिन पाकिस्तान सेना ने केवल 11 की ही पुष्टि की हैं।
10 मई को पाकिस्तान पर भारत की इस जवाबी कार्रवाई में लाहौर एयरपोर्ट पर दो लोगों की मौत हुई थी। सरगोधा में दो, रावलपिंडी में चार लोगों की मौत हुई थी। रहिमयार खान पर पांच लोग घायल हुए थे। सियालकोट में 11 सैनिकों की मृत्यु हुई थी।